33.7 C
Ratlām

भारत-चीन के बीच नहीं टूटा गतिरोध, नई घटनाओं से बचने पर सहमत

भारत और चीन के कोर कमांडरों के बीच 13 घंटे चली 11वें दौर की वार्ता , गोगरा, डेप्सांग और हॉट स्प्रिंग क्षेत्रों से सैनिकों की वापसी पर नहीं बनी सहमति

भारत-चीन के बीच नहीं टूटा गतिरोध, नई घटनाओं से बचने पर सहमत
भारत-चीन के बीच नहीं टूटा गतिरोध, नई घटनाओं से बचने पर सहमत 2

नई दिल्ली : भारत और चीन के बीच 13 घंटे चली 11वें दौर की सैन्य वार्ता में एलएसी के साथ गोगरा, डेप्सांग और हॉट स्प्रिंग क्षेत्रों से विस्थापन प्रक्रिया पर फिलहाल कोई सहमति नहीं बन पाई है। इसके बावजूद दोनों पक्ष मौजूदा समझौतों और प्रोटोकॉल के अनुसार बकाया मुद्दों को तेजी से सुलझाने और किसी भी तरह की नई घटनाओं से बचने पर सहमत हुए हैं।


भारत और चीन के कॉर्प्स कमांडर स्तर की 11वें दौर की वार्ता शुक्रवार देर रात 11.30 बजे खत्म हुई। यह बैठक शुक्रवार सुबह 10.30 बजे एलएसी के भारतीय क्षेत्र चुशुल-मोल्डो मीटिंग प्वाइंट पर शुरू हुई थी। लगभग 13 घंटे तक चली इस वार्ता में एलएसी के कई गतिरोध वाले बिन्दुओं पर चर्चा हुई है। रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता के अनुसार दोनों पक्षों के बीच पूर्वी लद्दाख में एलएसी के साथ-साथ डिसइंगेजमेंट से जुड़े बाकी मुद्दों के समाधान के लिए विचारों का विस्तृत आदान-प्रदान हुआ। दोनों पक्ष मौजूदा समझौतों और प्रोटोकॉल के अनुसार बकाया मुद्दों को तेजी से सुलझाने की आवश्यकता पर सहमत हुए। 


रक्षा मंत्रालय के आधिकारिक बयान में यह भी बताया गया है कि अन्य क्षेत्रों में डिसइंगेजमेंट करने से दोनों पक्षों के लिए सेनाओं की संख्या में कमी करने और शांति व सौहार्द की पूर्ण बहाली सुनिश्चित करने तथा द्विपक्षीय संबंधों में प्रगति को सफल बनाने का मार्ग प्रशस्त होगा। दोनों पक्ष इस बात पर सहमत थे कि अपने नेताओं की सहमति से मार्गदर्शन लेना, अपने संवाद को जारी रखना और शेष मुद्दों के पारस्परिक रूप से स्वीकार्य समाधान की दिशा में जल्द से जल्द काम करना महत्वपूर्ण है। दोनों पक्षों ने जमीन पर संयुक्त रूप से स्थिरता बनाए रखने, किसी भी नई घटना से बचने और संयुक्त रूप से सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति बनाए रखने पर भी सहमति जताई है।

 
इस बयान में गोगरा, डेप्सांग और हॉट स्प्रिंग इलाके से सैनिकों की वापसी को लेकर कायम गतिरोध का जिक्र किए बिना कहा गया है कि दोनों पक्ष बाकी बचे मुद्दों का तेजी से हल निकालने पर सहमत हैं लेकिन पूर्वी लद्दाख के इन इलाकों से सैनिकों को पीछे हटाने के बारे में कोई स्पष्ट बात नहीं कही गई है। बयान का संकेत साफ है कि दोनों देश अभी सैनिकों की वापसी के तौर-तरीकों पर सहमत नहीं हो पाए हैं। हालांकि, एलएसी पर तनाव न बढ़ने देने को लेकर दोनों देश गंभीर हैं। बयान में साफ कहा गया है कि सैन्य कमांडर स्तरीय वार्ता के दौरान दोनों पक्ष इस बात पर सहमत हुए कि दोनों देशों के नेताओं के बीच बनी सहमति के अनुसार बातचीत जारी रखी जाए, ताकि बाकी बचे मुद्दों का जल्द ऐसा हल निकाला जा सके जो एक दूसरे को स्वीकार्य हो। 

Please enable JavaScript in your browser to complete this form.
Name
Latest news
Related news